मित्रों आज हम संत रामपाल जी महाराज के कार्य के बारे में बात करेंगे कि कैसे वह समाज सुधार कर रहे हे और कैसे सुखी जीवन जीने की राह बता रहे हैं।
➤नशा को पूर्ण रूप से त्यागना
संत रामपाल जी बताते हे की नशा हमारा नाश करता है हमे बिलकुल भी नशा नहीं करना चाहिए क्योंकि यह हमारे सेहत के लिए बहुत ही हानिकारक हे,नशा सर्व प्रथम हमारे जिगर, गुर्दे, फेफड़े, ह्रदय का नाश करता है फिर धीरे-धीरे पूरे शरीर का नाश कर देता है।तम्बाखू,गांजा,सुल्फा,अफीम,तम्बाखू, इत्यादि इन सब नशीली वस्तु का सेवन नही करना चाहिए।
तमाखू दो शब्दों से मिलकर बना हे तमा+खू
फारसी भाषा में तमा को गाय कहते है और खू को खून कहते है
यह तमाखू गाय के खून से उपजा है यानि तमाखू का सेवन करना गाय का खून पीने के समान पाप लगता है इसलिए मानव तुझे सो बार सौगंध हे इसका प्रयोग ना करे।
संत रामपाल जी महाराज बताते है कि:-
मदिरा पीवे कड़वा पानी,सत्तर जन्म,श्वान के जानी
भावार्थ:-यह है कि जो व्यक्ति शराब पीता है उसको 70 जन्म कुत्ते के भोगने पड़ते है।
➤मांस का सेवन कभी ना करे
जो व्यक्ति मांस का सेवन करते है,वे तो राक्षश है। उनका तो कभी चेहरा भी नहीं देखना चाहिए और उनके साथ भी नहीं रहना चाहिए क्योकि उनके साथ रहने से अन्य व्यक्ति भी मांस का सेवन करने का आदि हो सकता है।मांस खाने वाले व्यक्ति चौरासी लाख योनिया भोगते है।
मांस खाने वाले व्यक्ति को और भी पाप भोगने पड़ते है उनको सत्तर जन्म तक मानव या बकरा-बकरी,मुर्गे या भैंस आदि के जीवनो में सिर कटते है। इसलिए मांस का सेवन कभी ना करे।
➤समाज की कुरीतियाँ
आज हमारे समाज में कई कुरीतियाँ चल रही है जैसे दहेज़ प्रथा,मृत्यु भोज,वर्णव्यवस्था,अन्धविश्वास,जातिवाद आदि।
बात करते हे दहेज़ प्रथा की तो आज इस प्रथा ने कई घर उझाड़ दिए है। बेटियों को गर्भ में ही मार दिया जाता है,लड़कियों के पिता को दहेज़ देने के लिए प्रेरित करते हे,दहेज़ न देने पर लड़कियों पर अत्याचार करते हे,जिस करणवर्श परेशान होकर लड़किया खुद ख़ुशी कर लेती है। बेटी होने पर लोग परेशान हो जाते हे की अब इसके विवाह में दहेज़ देना पड़ेगा इस कारणवर्श लोग बेटियों को मार देते हे। इसलिए दहेज़ प्रथा को बंद करना होगा। यह कार्य संत रामपाल जी महाराज कर रहे हे,वह अपने अनुयायियों की मात्र 17 मिनट में रमैनी (शादी) कर देते हे जिसमे लड़का और लड़की के परिवार वाले भी मौजूद होते हे,बिना किसी बैंड बाजे,डीजे,नाच-गाना,फिजूल खर्च,लेन-देन के यह शादी हो जाती है।
विशेष
➥अंत में मैं आपको यह कहना चाहूंगा की मेने एक पुस्तक पड़ी थी जिसका नाम जीने की राह है उस पुस्तक को पढ़कर मुझे बहुत ही अच्छा लगा और इस पुस्तक को सभी को पढ़ना चाहिए अगर आप भी वह पुस्तक को पढ़ना चाहते हो तो मैं एक लिंक दे रहा हु उसपर आप क्लिक करके आसानी से इस पुस्तक को पढ़ सकते है।
⇩
➤https://www.jagatgururampalji.org/jeene-ki-rah.pdf
➤नशा को पूर्ण रूप से त्यागना
संत रामपाल जी बताते हे की नशा हमारा नाश करता है हमे बिलकुल भी नशा नहीं करना चाहिए क्योंकि यह हमारे सेहत के लिए बहुत ही हानिकारक हे,नशा सर्व प्रथम हमारे जिगर, गुर्दे, फेफड़े, ह्रदय का नाश करता है फिर धीरे-धीरे पूरे शरीर का नाश कर देता है।तम्बाखू,गांजा,सुल्फा,अफीम,तम्बाखू, इत्यादि इन सब नशीली वस्तु का सेवन नही करना चाहिए।
तमाखू दो शब्दों से मिलकर बना हे तमा+खू
फारसी भाषा में तमा को गाय कहते है और खू को खून कहते है
यह तमाखू गाय के खून से उपजा है यानि तमाखू का सेवन करना गाय का खून पीने के समान पाप लगता है इसलिए मानव तुझे सो बार सौगंध हे इसका प्रयोग ना करे।
संत रामपाल जी महाराज बताते है कि:-
मदिरा पीवे कड़वा पानी,सत्तर जन्म,श्वान के जानी
भावार्थ:-यह है कि जो व्यक्ति शराब पीता है उसको 70 जन्म कुत्ते के भोगने पड़ते है।
➤मांस का सेवन कभी ना करे
जो व्यक्ति मांस का सेवन करते है,वे तो राक्षश है। उनका तो कभी चेहरा भी नहीं देखना चाहिए और उनके साथ भी नहीं रहना चाहिए क्योकि उनके साथ रहने से अन्य व्यक्ति भी मांस का सेवन करने का आदि हो सकता है।मांस खाने वाले व्यक्ति चौरासी लाख योनिया भोगते है।
मांस खाने वाले व्यक्ति को और भी पाप भोगने पड़ते है उनको सत्तर जन्म तक मानव या बकरा-बकरी,मुर्गे या भैंस आदि के जीवनो में सिर कटते है। इसलिए मांस का सेवन कभी ना करे।
➤समाज की कुरीतियाँ
आज हमारे समाज में कई कुरीतियाँ चल रही है जैसे दहेज़ प्रथा,मृत्यु भोज,वर्णव्यवस्था,अन्धविश्वास,जातिवाद आदि।
बात करते हे दहेज़ प्रथा की तो आज इस प्रथा ने कई घर उझाड़ दिए है। बेटियों को गर्भ में ही मार दिया जाता है,लड़कियों के पिता को दहेज़ देने के लिए प्रेरित करते हे,दहेज़ न देने पर लड़कियों पर अत्याचार करते हे,जिस करणवर्श परेशान होकर लड़किया खुद ख़ुशी कर लेती है। बेटी होने पर लोग परेशान हो जाते हे की अब इसके विवाह में दहेज़ देना पड़ेगा इस कारणवर्श लोग बेटियों को मार देते हे। इसलिए दहेज़ प्रथा को बंद करना होगा। यह कार्य संत रामपाल जी महाराज कर रहे हे,वह अपने अनुयायियों की मात्र 17 मिनट में रमैनी (शादी) कर देते हे जिसमे लड़का और लड़की के परिवार वाले भी मौजूद होते हे,बिना किसी बैंड बाजे,डीजे,नाच-गाना,फिजूल खर्च,लेन-देन के यह शादी हो जाती है।
विशेष
➥अंत में मैं आपको यह कहना चाहूंगा की मेने एक पुस्तक पड़ी थी जिसका नाम जीने की राह है उस पुस्तक को पढ़कर मुझे बहुत ही अच्छा लगा और इस पुस्तक को सभी को पढ़ना चाहिए अगर आप भी वह पुस्तक को पढ़ना चाहते हो तो मैं एक लिंक दे रहा हु उसपर आप क्लिक करके आसानी से इस पुस्तक को पढ़ सकते है।
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